हाल का ‘इतिहास’ जब खान मीडिया का था जलवा

एक वह जमाना था जब NDTV, CNN-IBNअपने प्राइम पर था और बुद्धिजीवियों का पसंदीदा प्लेटफॉर्म हुआ करता था जहां सदैव राइट विंग और राष्ट्रवादीयों की बैशिंग हुआ करती थी,
चर्चाओं का आयोजन किया जाता था जहां एक भाजपा या किसी हिंदूवादी संगठन का प्रतिनिधि बुलाया जाता था और एक कांग्रेस का, एक वामपंथी, एक वामपंथ की ओर झुकाव रखने वाला राजनीतिक विश्लेषक और एक कोई भाजपा विरोधी क्षेत्रीय पार्टी का प्रतिनिधि बैठा होता था,

एंकर राष्ट्रवादी संगठन अथवा भाजपा के प्रति पूर्णता होस्टाइल हुआ करता था, और सदैव उसे ही कटघरे में खड़ा करके सवाल दागा करता था, वो बेचारा जब तक उत्तर दे पाता, इतने में कभी वामपंथी उसे टोकता, फिर वह वामपंथी को उत्तर देता, तो कांग्रेसी उसे टोकता, फिर कांग्रेसी को उत्तर देता तो फिर एंकर बीच में कूद पड़ता, फिर वह एंकर को प्रत्युत्तर देता तो वह वामपंथ की ओर झुकाव वाला राजनीतिक विश्लेषक उसपर कूद पड़ता और अन्य आरोप लगा देता,

पूरी डिबेट कुछ इसी प्रकार समाप्त हो जाती, तथ्यों और साक्ष्यों को दरकिनार कर कुतर्कों द्वारा राष्ट्रवादी प्रतिनिधि/ भाजपा सदस्य को पूरी डिबेट में केवल जलील करने का प्रयत्न किया जाता था।

समय बदला इंटरनेट, सोशल मीडिया व् सूचना क्रांति का दौर आया, अब हर किसी के पास मोबाइल में इंटरनेट, हर कोई पत्रकार, हर कोई रिसर्च करने और वह रिसर्च साझा करने में सक्षम था, ये सब अधिकांश लोग युवा थे जो झूठ का भंडाफोड़ करने में सक्षम थे जिसके कारण झूठ फैलाने वाले प्रनॉय रॉय के NDTV की साख सुपुर्दे खाक हो गयी, राघव बहल का CNN-IBN बिक गया इनके लेफ्टिस्ट एंकरों को नौकरियां छोड़नी पड़ी, छोटे मोटे प्रोपगैंडा मीडिया हाउस में जाकर रोटी सब्जी का जुगाड़ करना पड़ा,

अब यह मोदी विरोधी एक झूठा शिगूफा अथवा अफवाह उड़ाते हैं, थोड़ी देर बाद ही सोशल मीडिया पर युवा तथ्यों और साक्ष्यों द्वारा न केवल उस झूठ का वध करते हैं अपितु प्रमाण सहित मोदी विरोधियों के पूर्व में किये उस विषय से जुड़े पाप भी उजागर कर झूठों का मुंह काला करने में कोई कसर नहीं छोड़ते,

⭕ कांग्रेस ने मध्यप्रदेश, राजस्थान में लोन माफी की अफवाह उड़ाकर अपनी पीठ ठोकनी चाही, सोशल मीडिया ने स्थानीय किसानों की आपबीती और उनके संग हुए छल की दर्जनों कहानियां सार्वजनिक कर दीं,

⭕ पुलवामा के बाद कॉन्ग्रेस ने पाकिस्तान के सुर में बात करनी शुरू करी तो सोशल मीडिया ने हाफिज सईद द्वारा सोनिया गांधी की तारीफ का वीडियो वायरल कर दिया, समझौता व् पठानकोट हमलों के आतंकियों को कांग्रेस द्वारा छोड़ने की बात सार्वजनिक कर दी

⭕ कांग्रेस ने इतिहास में मिग 21 खरीदने के नाम पर अपनी पीठ ठोकनी चाही, सोशल मीडिया ने 1200 खरीदे गए मिग में से 800 के क्रैश होने की बात सार्वजनिक कर दी

⭕ कांग्रेस ने अनिल अम्बानी पर आरोप लगाए, सोशल मीडिया ने सोनिया गांधी द्वारा अनिल अंबानी के जेट से यात्रा करने, अनिल अम्बानी को एक लाख करोड़ के ठेके देने और अम्बानी की कम्पनी में निवेश की बात सार्वजनिक कर दी,

⭕ कांग्रेस ने भाजपा पर बुजुर्ग नेताओं के अपमान का आरोप लगाया, सोशल मीडिया ने गांधी परिवार व् कांग्रेस द्वारा सीताराम केसरी व् नरसिंह राव संग किया अन्याय उजागर कर उत्तर दिया,

⭕ कांग्रेस ने नीरव मोदी व् विजय माल्या का नाम लेकर भाजपा को घेरना चाहा, सोशल मीडिया ने माल्या संग कांग्रेस नेताओं की फोटो, माल्या को लोन देने की तारीख राहुल द्वारा नीरव मोदी की पार्टी में जाने और उंससे मिलने की घटना और नीरव द्वारा काँग्रेस नेता अभिषेक सिंघवी संग की डिलिंग्स सार्वजनिक कर दीं

⭕ अब कांग्रेस ने स्मृति की डिग्री पर प्रश्न उठाये तो सोशल मीडिया ने सोनिया गांधी की फर्जी डिग्री झूठे एफिडेविट व् राहुल गांधी की फर्जी डिग्री व् बिना MA के MPhil की डिग्री व् अलग नाम को उजागर कर कांग्रेस को पुनः धूल चटाई।

⭕ आज फ्रांस के फर्जी मीडिया हाउस द्वारा फ्रांस में अनिल अंबानी का टैक्स माफ करने का झूठ फैलाया गया, जिसे आजतक व् हेडलाइन्स टुडे ने दिनभर चलाया, शाम तक सोशल मीडिया ने इसकी भी पोल खोल दी, और उजागर किया कि वह अनिल अंबानी की फ्रेंच टेलीकॉम कम्पनी पर 2014 से पहले का कोर्ट केस था, जो अनिल अंबानी ने फ्रांस के कोर्ट में लड़कर जीता, जिसके बाद उसपर लगा अनावश्यक टैक्स कोर्ट ने कम किया।

स्थिति ऐसी हो गयी हैं की कांग्रेस व् मोदी विरोधी जितनी चालाकी से झूठ गढ़ते है, सोशल मीडिया पर बैठे युवा उतनी ही सरलता से इनके झूठ के गुब्बारे में सुई घुसेड़कर इनकी छवि और कलंकित व् स्याह बना देते हैं।
🇮🇳Rohan Sharma🇮🇳

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