हिंदुत्ववादियों की हिट लिस्ट में मुख्यमंत्री धामी,

Claim Of Planning Of Target Killings From A Website Containing Profiles Of Hindutva Activists Is Misleading

Fact Check: हिंदुत्ववादियों की प्रोफाइल वाली वेबसाइट से टार्गेट किलिंग की प्लानिंग का दावा भ्रामक है
एक वेबसाइट हिंदू हितों की बात करने वालों की सूची प्रकाशित कर रही है। वेबसाइट पर हिंदुत्व की विचारधारा के समर्थकों के नाम, फोटो और प्रोफाइल दिए गए हैं। इसमें कहा गया है कि यह शोध परियोजना है, जो घृणित हिंदू वर्चस्ववादी लोगों की जानकारी देती है। हालांकि, इसमें हत्या या हिंसा के उकसावे की बात नहीं है।

एक वेबसाइट ने हिंदुत्ववादियों की सूची बनाई है
दावा- यह एक दिन में सबकी हत्या की प्लानिंग है
वेबसाइट तो बनी है, लेकिन हिंसा की बात नहीं है

एक वेबसाइट पर हिंदुत्ववादियों की लिस्ट।

नई दिल्ली: सुलि डील्स का विवाद याद है ना? एक लिस्ट बनी थी महिलाओं की जिनकी ऑनलाइन बोलियां लगाई जा रही थीं। हो-हंगामे के बाद ऐप को हटाया गया और इसे बनाने वालों पर भी कार्रवाई हुई थी। इस बीच एक और लिस्ट इंटरनेट पर तैयार की गई है। अब इस पर आपत्ति जताई जा रही है।

क्या है दावा?
दावा है कि हिंदू हितों की बात करने वालों की सुपारी दी जा रही है। एक्स यूजर विजय पटेल ने अपनी पोस्ट में काफी विस्तार से बताया है कि एक वेबसाइट पर कथित हिदुत्ववादियों की सूची तैयार की गई है जो बहुत खतरनाक है। उन्होंने लिखा है, ‘किसी ने हिंदुओं और भारत के लिए आवाज उठाने वाले सभी लोगों की लक्षित हत्या के लिए एक वेबसाइट प्रकाशित की है।’ उन्होंने वेबसाइट पर प्रकाशित कुछ नामों की सूची भी अपने एक्स पोस्ट में दी है। पोस्ट के आखिर में वो कहते हैं, ‘कुछ महीने पहले, बिहार पुलिस को PFI का विजन डॉक्युमेंट 2047 मिला था, जिसमें सभी हिंदू नेताओं और उनके ठिकानों की सूची है ताकि वे उन सभी को सिर्फ एक दिन में मार सकें। यह सूची उससे बहुत मिलती-जुलती है। हमारी एजेंसियों को इस वेबसाइट के पीछे के लोगों को ढूंढना चाहिए।’

10   2024 |

विजय पटेल ने सुली डील्स विवाद की तरफ इशारा करते हुए लिखा, ‘अगर आपको याद हो, तो एक साल पहले कुछ किशोरों ने एक फर्जी नीलामी सूची बनाई थी, और सभी वामपंथी और इस्लामवादी कार्रवाई की मांग कर रहे थे। उन्होंने उन किशोरों को गिरफ्तार भी करवाया था, लेकिन इस सूची में सीएम, एमपी और अन्य प्रमुख लोगों के नाम हैं, लेकिन कोई भी इसके बारे में बात नहीं कर रहा है।’

क्या है सच्चाई?
हमने इसकी पड़ताल की तो पाया कि सच में ऐसी वेबसाइट hindutvaprofiles.com नाम से है। विजय पटेल के दावे के मुताबिक यहां कई हिंदुत्ववादियों के नाम, फोटो और विस्तृत प्रोफाइल प्रकाशित है। इस वेबसाइट के लोगो में लिखा है- Bad actors, Bad for the world (बुरे लोग, दुनिया के लिए खतरनाक)।
वेबसाइट कहती है कि यह भारत और विदेशों में प्रभुत्ववादी नफरती हिंदुओं के बारे में जानकारी इकट्ठा करने के लिए बनाई गई है। इस उद्देश्य के नीचे तीन कैटिगरी दी गई है- सभी, नफरती, सबसे खतरनाक। विभिन्न लोगों को अलग-अलग कैटिगरी में रखा गया है। इनमें नेता, पत्रकार, सामाजिक कार्यकर्ता समेत तमाम क्षेत्र के लोगों की लिस्ट दी गई है। मसलन, पत्रकार और सोशल मीडिया फेस मधु पूर्णिमा किश्वर, पत्रकार सुधीर चौधरी, नेता कैलाश विजय वर्गीय आदि को नफरती लोगों की कैटिगरी में रखा गया है जबकि केंद्रीय मंत्री प्रताप चंद्र सारंगी, बीजेपी-आरएसएस नेता अनंत कुमार हेगड़े, महंत राजू दास आदि सबसे खतरनाक लोगों की सूची में शामिल हैं।

इसी तरह, स्थान के आधार पर भी वर्गीकरण किया गया है। सभी जगह, भारत, अमेरिका और कनाडा की कैटिगरीज बनाई गई हैं। इन कैटिगरीज में भी ड्रॉप डाउन में संबंधित देशों के राज्यों की लिस्ट दी गई है। फिर सर्च ऑप्शन भी दिया गया है। कोई किसी का नाम सर्च से भी पता कर सकता है।
इस वेबसाइट का About Us (हमारे बारे में) का पन्ना अच्छा-खासा लंबा है। इसमें कहा गया है, ‘हिंदुत्व प्रोफाइल (एचपी) एक शोध परियोजना है जो भारत और विदेशों में घृणित हिंदू वर्चस्ववादी या हिंदुत्व विचारधारा के मुख्य समर्थकों के बारे में जानकारी देती है। यह उन व्यक्तियों की भी जानकारी देती है जो भारत में धार्मिक अल्पसंख्यकों के खिलाफ हिंसा भड़काते हैं और उसमें भाग लेते हैं। यह शोधकर्ताओं की एक टीम द्वारा संचालित एक अनूठी परियोजना है जो व्यक्तियों के बारे में सार्वजनिक जानकारी जुटाती है।’ अगर कोई किसी हिंदुत्ववादी सोच के व्यक्ति का प्रोफाइल जोड़ना चाहता है तो इसकी भी सुविधा दी गई है।

फिर यह हिंदुत्व क्या है, इस पर लंबी चौड़ी बात करती है। इसके लिए वह विनायक दामोदर सावरकर और माधव सदाशिव राव गोलवलकर की तस्वीरें लगाकर उनके चुनिंदा विचार भी रखती है। लेख में कई न्यूज वेबसाइटों और पीडीएफ के लिंक्स लगे हैं। फिर हिंदुत्ववादियों के इंटरनैशनल नेटवर्क का ग्राफ दिया गया है। अंत में संपर्क के लिए ईमेल आईडी hindutvaprofiles@protonmail.com दी गई है।

 

निष्कर्ष
हमारी पड़ताल में हिंदू हितों की बात करने वालों की लिस्ट वाली वेबसाइट का होना सही पाया गया। यह दावा भी सही है कि प्रतिबंधित संगठन पीएफआई का विजन डॉक्युमेंट मिला था। बिहार पुलिस ने 13 जुलाई, 2022 को राजधानी पटना के फुलवारी शरीफ इलाके में पीएफआई से जुड़ी आतंकी गतिविधियों का खुलासा किया था। बाद में ईडी ने अपने आरोप पत्र में पीएफआई की प्लानिंग की विस्तृत जानकारी दी थी। हालांकि, हिंदुत्व प्रोफाइल्स नाम की इस वेबसाइट में कहीं ऐसा नहीं लिखा है कि सूची में शामिल लोगों की हत्या की जानी है या उन्हें किसी और तरह से निशाना बनाया जाना है। इसलिए हमारी पड़ताल में यह दावा भ्रामक निकला।

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