ISIS से ही नहीं, ‘अंसार गजवा- तुल-हिंद’ से भी जुड़ा था गोरखनाथ मंदिर हमलावर मुर्तजा
गोरखनाथ मंदिर के हमलावर का आतंकी नेटवर्क:स्लीपर सेल जोड़ने के लिए बनाया ऐप; ISIS से है कनेक्शन, मुंबई हमले के प्रमुख आतंकी अबू हमजा के वीडियो देखकर आया था
मुंबई हमले का प्रमुख आतंकी अबू हमजा जिसे सऊदी अरब ने भारत को सौंपा था।
गोरखपुर05 मार्च।गोरखनाथ मंदिर की सुरक्षा में तैनात PAC जवानों पर हमला करने वाले मुर्तजा अहमद अब्बासी का कनेक्शन ISIS और ‘अंसार गजवा-वा तुल’ जैसे खतरनाक आतंकी संगठनों से जुड़ा है। वह भारत-नेपाल बॉर्डर के कई संदिग्ध मदरसों और मरकज के भी संपर्क में रहा है। उसके लैपटॉप और बैग से मिले सुरागों के बाद उत्तर प्रदेश पुलिस का एंटी टेररिस्ट सेल (ATS) अलर्ट पर आ गया है।
ATS उसे लेकर सिद्धार्थनगर और महाराजगंज जा रही है, क्योंकि हमले से पहले वह दो दिन तक सिद्धार्थनगर के बांसी में ही ठहरा था। यहीं से उसने वह बांका भी खरीदा था, जिससे जवानों पर हमला किया। इतना ही नहीं, इस मामले की जांच के क्रम में ATS की अलग-अलग टीमों ने गोरखपुर के साथ ही कुशीनगर, महाराजगंज और सिद्धार्थनगर में भी छापेमारी शुरू कर दी है।
‘अंसार गजवा-वा तुल’ अल-कायदा समर्थित आतंकी संगठन है। इसका मकसद निजाम-ए-मुस्तफा लाना है। यह भारत में भी काफी समय से सक्रिय है।
मुर्तजा ने आतंकी अबू हमजा का आठ बार वीडियो देखा
ATS की जांच में सामने आया है कि मुर्तजा ने हमले से पहले आतंकी अबू हमजा के वीडियो 8 बार देखे थे। इसके अलावा अरब देश में नाटो से गोरिल्ला लड़ाई की वीडियो क्लिप भी मुर्तजा ने सैकड़ों बार देखा था। करीब 8 मिनट की ये वीडियो क्लिप मुर्तजा के इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस में अरबी भाषा में अबीद के नाम से पाई गई है।
स्लीपर सेल बढ़ाने के लिए बनाया था ऐप
अब तक की जांच में सामने आया है कि मुर्तजा आतंकी संगठनों से जुड़ा स्लीपर सेल हो सकता है। इसी दिशा में ATS पहले से काम कर रही है। मुर्तजा खुद एक केमिकल इंजीनियर है। उसने एक ऐप भी डेवलप किया था। ATS को आशंका है कि इस ऐप का इस्तेमाल कर वह आतंकी स्लीपर सेल नेटवर्क को बढ़ाने की दिशा में काम कर रहा था। फिलहाल टीम उस ऐप की पड़ताल कर रही है।
एडीजी लॉ एंड ऑर्डर प्रशांत कुमार ने एक दिन पहले प्रेस कॉन्फ्रेंस कर गोरखनाथ मंदिर में हुए हमले को बड़ी साजिश बताया था।
नेपाल, मुंबई, जामनगर और कोयंबटूर तक मुर्तजा का कनेक्शन
मामले की जांच पूर्वांचल और नेपाल के साथ ही मुबंई, जामनगर और कोयंबटूर तक पहुंच गई है। ATS के साथ ही इस मामले को गंभीरता से लेते हुए NIA ने भी अपनी जांच शुरू कर दी है। हमलावर मुर्तजा के लैपटॉप से अब तक टीम को गोरखनाथ मंदिर के नक्शा के अलावा, देश विरोधी वीडियो, कट्टरपंथी जाकिर नाइक के वीडियो के अलावा मजहबी साहित्य मिले। उसके मोबाइल फोन से आतंकी कनेक्शन होने के सबूत हाथ लगे हैं।
तलाकशुदा पत्नी और रिश्तेदारों से भी पूछताछ
ATS की एक टीम मुर्तजा की तलाकशुदा पत्नी और उसके परिजनों से पूछताछ के लिए गाजीपुर रवाना हुई है। यहां टीम उसकी पूर्व पत्नी और परिजनों से पूछताछ करेगी। इसमें तलाक की वजह, मुर्तजा के व्यवहार के बारे में भी टीम जानकारी जुटाएगी। इसके अलावा ATS मुर्तजा के करीबियों की लिस्ट तैयार कर उनसे भी पूछताछ करने की तैयारी कर रही है। मुर्तजा के पिता ने बताया है कि उनके बेटे की दूसरी शादी के लिए जौनपुर जिले में बात चल रही है। ऐसे में टीम जौनपुर में उस परिवार से भी पूछताछ करेगी, जहां मुर्तजा की शादी तय हो रही है।
21 महीने से मुर्तजा को ट्रैक कर रही थी ATS
ATS सबसे पहले मुर्तजा के नेपाल कनेक्शन की पड़ताल में जुटी है। अब तक की जांच में सामने आए तथ्यों से मुर्तजा के संपर्क कई ऐसे मदरसों और मरकजों से मिले हैं, जहां विदेशी फंडिंग होती है। ATS की निगाह मुर्तजा पर 21 महीने से थी और वह लगातार उसे ट्रैक कर रही थी। खुफिया एजेंसीज ने 31 मार्च को 16 संदिग्धों की एक सूची UP पुलिस को भेजी थी। उसमें अहमद मुर्तजा का भी नाम था। ATS, STF, IB, NIA के अलावा 5 पुलिस टीम में जांच में जुटी हैं।
गोरखपुर से पकड़े गए पाकिस्तानी जासूस की जांच में सामने आया था नाम
साल 2020 में ATS ने गोरखपुर के एक जासूस को दबोचा था, जो हनीट्रैप का शिकार होकर 2014 और 2018 में पाकिस्तान भी गया था। यहां आने के बाद उसने एयरपोर्ट, गोरखनाथ मंदिर सहित शहर के कई महत्वपूर्ण स्थानों के नक्शे पाकिस्तान में बैठे आतंकी आकाओं को भेजे थे। इसी जांच के दौरान मुर्तजा का नाम भी सामने आया था। ATS उसे तभी से ट्रैक कर रही थी, लेकिन पुख्ता सबूत नहीं मिलने की वजह से टीम उसे दबोच नहीं सकी और उसने वारदात को अंजाम दे दिया। मुर्तजा के पिता ने भी यह खुलासा किया है कि 2 अप्रैल को ATS वाले उसके घर मुर्तजा के बारे में पूछने गए थे। इसके बाद वो नेपाल भाग गया था।