नया कानून स्थगित, वैसे भी दुर्घटना छिपाने वालों को ही नये कानून में है कड़ी सजा का प्रावधान
हिट एंड रन का नया कानून फिलहाल नहीं होगा लागू, ट्रांसपोर्ट कांग्रेस का ऐलान, हड़ताल वापस होगी
Hit and Run Law: संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान तीन नए क्रिमिनल लॉ पास हुए हैं, जिनपर राष्ट्रपति की मोहर भी लग चुकी है. कानूनों में हिट एंड रन पर 10 साल की सजा और इतना ही जुर्माना लगाए जाने का विरोध किया था. अपनी मांगों को लेकर ट्रक ड्राइवर और ट्रांसपोर्ट हड़ताल पर चले गए थे.
सरकार के साथ मीटिंग के बाद फैसला. (PTI)
नई दिल्ली दो जनवरी 2024. तीन नए क्रिमिनल लॉ के खिलाफ हड़ताल पर गए ट्रांसपोर्टरों की केंद्र सरकार के साथ सुलह हो गई है. नए कानूनों में हिट एंड रन पर कड़ी सजा का ड्राइवर और ट्रांसपोर्टर विरोध कर रहे हैं. केंद्र सरकार के साथ आज शाम मीटिंग के बाद फिलहाल इन्हें लागू नहीं करने का फैसला किया गया है. गृह सचिव अजय भल्ला ने कहा कि हिट एंड रन पर नियम अभी लागू नहीं होंगे. ड्राइवरों से काम पर लौटने की अपील की गई है. 10 साल की सजा और जुर्माने का नियम अभी लागू नहीं किया जाएगा.
भारतीय दंड विधान की जगह लेने जा रही भारतीय न्याय संहिता में ऐसे चालकों के लिए 10 साल तक की सजा का प्रावधान है जो लापरवाही से गाड़ी चलाकर भीषण सड़क हादसे को अंजाम देने के बाद पुलिस या प्रशासन के किसी अधिकारी को दुर्घटना की सूचना दिए बगैर मौके से फरार हो जाते हैं. पेशेवर चालक इन प्रावधानों को वापस लेने की मांग कर रहे हैं.
सरकार ने कहा, नया कानून अभी लागू नहीं होगा, ड्राइवरों से काम पर लौटने की अपील
ट्रक ड्राइवरों की हड़ताल के चलते चंडीगढ़ में पेट्रोल-डीजल की खासी किल्लत हो गई. जिसके चलते शहर में एंबुलेंस सेवा तक प्रभावित हो गई. मामले की गंभीरता को देखते हुए चंडीगढ़ प्रशासन ने राज्य में पेट्रोल डीजल की राशनिंग कर दी है. फिलहाल दो पहिया वाहन को दो लीटर और चार पहिया वाहन को केवल पांच लीटर पेट्रोल-डीजल ही दिया जाएगा. उम्मीद की जा रही है कि हड़ताल वापस होने के बाद यह पाबंदी भी हट जाएगी. संसद के बीते शीतकालीन सत्र के दौरान तीन नए क्रिमिनल लॉ पास हुए हैं, जिनपर राष्ट्रपति की मोहर भी लग चुकी है. इन कानूनों में हिट एंड रन पर 10 साल की सजा और साथ ही इतना ही जुर्माना लगाए जाने का प्रावधान है, जिनका विरोध किया जा रहा है. अपनी मांगों को लेकर ट्रक ड्राइवर और ट्रांसपोर्ट हड़ताल पर चले गए थे.
Hit And Run New Law Inform Police About Accident Drivers Will Not Face Stringent Provision
सड़क दुर्घटना की जानकारी पुलिस को देने पर क्या कम मिलेगी सजा? हिट एंड रन कानून में क्या है प्रावधान
नए कानून में गंभीर सड़क दुर्घटनाओं का कारण बनने वाले और पुलिस या प्रशासन को सूचित किए बिना भागने वाले ड्राइवर को 10 साल तक की जेल या सात लाख रुपये का जुर्माना हो सकता है। इसको लेकर देश के अलग-अलग राज्यों में विरोध प्रदर्शन जारी है और इसको वापस लिए जाने की मांग की जा रही है।
एक वाहन चालक जो गलती से किसी व्यक्ति को टक्कर मार देता है और बाद में पुलिस को उस बारे में सूचित करता है या पीड़ित को नजदीकी अस्पताल ले जाता है, उस पर हाल ही में बनाए गए भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) के कड़े प्रावधान में मुकदमा नहीं चलाया जाएगा। एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी। BNS के अनुसार जो कोई भी लापरवाही से वाहन चलाकर किसी व्यक्ति की मौत का कारण बनता है, जो गैर इरादतन हत्या की श्रेणी में आता है, और घटना के तुरंत बाद किसी पुलिस अधिकारी या मजिस्ट्रेट को इसकी सूचना दिए बिना भाग जाता है, उसे दस वर्ष तक की अवधि के कारावास से दंडित किया जाएगा, और जुर्माना भी लगाया जाएगा।
नए कानून के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे और सड़कों से दूर रहने वाले कुछ ट्रक चालकों की आशंकाओं को गलत बताकर खारिज करते हुए पदाधिकारी ने कहा कि हिट-एंड-रन मामलों का प्रावधान केवल उन वाहन चालकों पर लागू होगा, जो पुलिस को बिना बताए भागने की कोशिश करेंगे। अधिकारी ने कहा दुर्घटना की सूचना पुलिस को देने वाले चालक पर कड़े कानून के तहत कार्रवाई नहीं की जाएगी। यदि वाहन चालक को डर है कि दुर्घटना स्थल पर रुकने पर उस पर हमला किया जाएगा, तो वह निकटतम पुलिस थाने जा सकता है या पुलिस या टोल फ्री आपातकालीन हेल्पलाइन नंबर 108 पर कॉल कर सकता है और दुर्घटना के बारे में सूचित कर सकता है।
ऐसे मामलों में वाहन चालक को बस पुलिस को गाड़ी का नंबर, संपर्क विवरण देना होगा और बताना होगा कि जरूरत पड़ने पर वह जांच में सहयोग करेगा।
उन्होंने कहा कि ऐसे मामलों में कानून के कड़े प्रावधान लागू नहीं होंगे। उनके मुताबिक, वाहन चालक अगर पुलिस को सूचना दिए बिना मौके से भागते हैं, तो कानून के कठोर प्रावधानों में कार्रवाई की जाएगी। इसी तरह, नशे में गाड़ी चलाने और उसके बाद दुर्घटना के मामलों में भी कड़ा प्रावधान लगाया जाएगा।
हिट एंड रन मामलों में सजा को 10 साल तक बढ़ाने का नया प्रावधान सुप्रीम कोर्ट की टिप्पणी के बाद तैयार किया गया है। सूत्रों ने बताया कि उच्चतम न्यायालय ने कई मामलों में कहा है कि जो वाहन चालक सड़क पर लापरवाही से गाड़ी चलाते हैं, दुर्घटना के बाद भाग जाते हैं जिससे किसी की मौत हो जाती है, तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जानी चाहिए।
बीएनएस की उपधारा 106 (1) और उपधारा 106 (2) यह स्पष्ट करती है कि यदि व्यक्ति लापरवाही से गाड़ी चलाने से हुई मौत की सूचना घटना के तुरंत बाद किसी पुलिस अधिकारी या मजिस्ट्रेट को देता है, तो उस पर उपधारा 106(2) के स्थान पर उपधारा 106(1) लगाई जाएगी। उपधारा 106 (1) में पांच साल तक की सजा का प्रावधान है, जबकि उपधारा 106(2) में 10 साल तक की सजा का प्रावधान है। इन नए कठोर प्रावधानों के खिलाफ ट्रक चालकों ने कई राज्यों में हड़ताल की।