तालिबान की इकतरफा जीत नहीं, फौज भागी पर नागरिक प्रतिरोध जारी
तालिबान को चैलेंज:जलालाबाद में लोगों ने राष्ट्रध्वज के साथ रैली निकाली, आतंकियों की फायरिंग में 3 लोगों की मौत- कई पत्रकार भी घायल
काबुल18अगस्त।अफगानिस्तान में कुछ लोगों को तालिबान की हुकूमत मंजूर नहीं है। इसके संकेत बुधवार को मिले। जलालाबाद में स्थानीय लोगों ने अफगानिस्तान का राष्ट्रध्वज फहराया। इसके बाद यही झंडा हाथ में लेकर रैली निकाली। तालिबान को यह इतना नागवार गुजरा कि उसने निहत्थे लोगों पर फायरिंग कर दी। न्यूज एजेंसी ‘रॉयटर्स’के मुताबिक, तालिबान की फायरिंग में तीन लोगों की मौत हो गई है। कुछ पत्रकार भी घायल हुए हैं। इनमें से ज्यादातर वीडियो जर्नलिस्ट्स हैं।
तालिबान का विरोध
जलालाबाद अफगानिस्तान के बड़े और मुख्य शहरों में से एक है। बुधवार को यहां हजारों लोग एक मुख्य चौराहे पर जुटे। उन्होंने एक जगह अफगानिस्तान का राष्ट्रीय ध्वज फहराया। इसके बाद मुख्य मार्ग से राष्ट्रीय ध्वज लेकर रैली निकाली। यह तालिबान की हुकूमत को सीधी चुनौती थी। इमारतों और सड़कों पर तैनात तालिबान ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए फायरिंग की। इसमें तीन लोगों के मारे जाने और कुछ के घायल होने की खबर है।
जलालाबाद ही वो शहर है जिसे तालिबान ने काबुल के पहले फतह किया था। यहां के लोगों ने तालिबान का झंडा उठाने से परहेज किया है। बुधवार को रैली के जरिए उन्होंने सीधे तौर पर तालिबान को चैलेंज किया।
अचानक फायरिंग
लोकल मीडिया ने इसके कुछ वीडियो फुटेज भी जारी किए हैं जो सोशल मीडिया पर मौजूद हैं। इसमें लोग शांतिपूर्ण तरीके से रैली निकाल रहे हैं। इसी दौरान इमारतों और सड़कों पर तैनात तालिबान फायरिंग शुरू कर देते हैं। इस दौरान तालिबान के खिलाफ काफी नारेबाजी भी हुई। वीडियोज में बताया गया है कि तालिबान ने इस दौरान पत्रकारों और खासकर वीडियो जर्नलिस्ट्स से भी मारपीट की।
कथनी और करनी में फर्क
‘न्यूयॉर्क टाइम्स’की एक रिपोर्ट के मुताबिक, तालिबान ने महिलाओं की सुरक्षा और उन्हें वाजिब हक देने के वादे जरूर किए हैं, लेकिन यह सिर्फ दुनिया में अपनी इमेज चमकाने की कोशिश नजर आती है। काबुल एयरपोर्ट के बाहर तालिबान ने कतार में लगी महिलाओं से मारपीट की। इसकी कुछ तस्वीरें भी सामने आई हैं। एक महिला को बंदूक की बट से पीटा गया। यह महिला बुर्के में थी और अपना बचाव करती नजर आई।
काबुल एयरपोर्ट के बाहर बुधवार को कतार में लगी महिलाओं से तालिबान ने मारपीट की।
हामिद करजई एक्टिव
इधर, काबुल में बुधवार को हक्कानी नेटवर्क के सरगना और तालिबान कमांडर अनस हक्कानी ने अफगानिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति हामिद करजई से मुलाकात की। इस मीटिंग में पूर्व विदेश मंत्री अब्दुल्ला-अब्दुल्ला भी शामिल थे। तालिबान में कई गुट शामिल है। इनमें हक्कानी नेटवर्क काफी अहम माना जाता है। अमेरिका इसी गुट को अफगानिस्तान में हिंसा का प्रमुख जिम्मेदार मानता है। इसके ज्यादातर ठिकाने पाकिस्तान के कबायली इलाकों में हैं। यह गुट पाकिस्तानी सेना और आईएसआई के इशारों पर काम करता है।