कर्नाटक चुनाव आयोग का राहुल को जांच नोटिस, हो सकती है 7 साल सजा

Election Commission Cracks Down On Rahul Gandhi Issues Notice In Voter List Case Accuses Him Of Showing Forged Documents
राहुल गांधी के वोट चोरी के आरोपों पर चुनाव आयोग कठोर, सीईओ कर्नाटक ने दिया नोटिस, कहा- जाली हैं प्रपत्र 
चुनाव आयोग ने राहुल गांधी को कर्नाटक की वोटर लिस्ट में गड़बड़ी के आरोपों पर नोटिस जारी किया है, जिसमें उनसे एक महिला वोटर के मामले में दस्तावेज मांगे गए हैं।
नई दिल्ली: कांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी की ओर से कर्नाटक की वोटर लिस्ट में गड़बड़ी कर वोट चोरी करने जैसे लगाए गए गंभीर आरोपों पर चुनाव आयोग ने रविवार को पहली बार सख्त रुख दिखाया है। मामले में कर्नाटक के सीईओ की तरफ से राहुल गांधी को नोटिस जारी करके एक महिला वोटर के मामले में दस्तावेज मांगे गए हैं। साथ ही आयोग ने यह भी कहा है कि राहुल गांधी ने मतदाताओं द्वारा मत देते समय किए जाने वाली साइन की जो टिक मार्क लिस्ट दिखाई है। वह आयोग ने उन्हें दी ही नहीं, वह जाली है।
Rahul Gandhi

चुनाव आयोग ने एक बार फिर से राहुल गांधी को कहा है कि वह सीईओ कर्नाटक के पहले पत्र पर अभी भी समय रहते साइन करके डिक्लेरेशन दें या फिर देश से माफी मांगे। नहीं तो उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में जो भी जानकारी दी है, उस बारे में चुनाव आयोग हर एक केस की जांच करके सचाई बतायेगा। आयोग ने बताया कि राहुल गांधी ने जिन महिला के बारे में दो वोटर कार्ड रखने और दो बार वोट देने का आरोप लगाया था। वह झूठा  है। महिला वोटर ने इसका खंडन किया है।

शकुन रानी को ‘डबल वोटर’ बताकर फंसे राहुल, EC ने डेटा पर उठाए सवाल, कहा- सोर्स बताएं कांग्रेस नेता
कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने राहुल गांधी को पत्र लिखकर वह प्रपत्र मांगा है, जिसके आधार पर उन्होंने दावा किया था कि बेंगलुरु सेंट्रल की महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में शकुन रानी ने दो बार मतदान किया था.
कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने राहुल गांधी की प्रेस कॉन्फ्रेंस में दिखाए गए डेटा पर सवाल उठाए हैं.
कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO) ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी को नोटिस जारी कर उनके मतदाता धोखाधड़ी के आरोपों पर स्पष्टीकरण और साक्ष्य मांगे हैं. यह पत्र 7 अगस्त, 2025 को राहुल गांधी की दिल्ली में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के जवाब में लिखा गया, जिसमें उन्होंने बेंगलुरु सेंट्रल की महादेवपुरा विधानसभा क्षेत्र में बड़े पैमाने पर मतदाता धोखाधड़ी का आरोप लगाया था.

 

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वोट चोरी का आरोप: राहुल गांधी को नोटिस, चुनाव आयोग ने कहा- अभी भी समय है… – RAHUL GANDHI
कर्नाटक के सीईओ ने राहुल गांधी को नोटिस जारी किया है और अपने दावे को साबित करने वाले सबूत पेश करने को कहा है.
Karnataka CEO issues notice to Rahul Gandhi asks to share documents on claimed woman voted twice
वोट चोरी का आरोप: राहुल गांधी को नोटिस, चुनाव आयोग ने कहा- अभी भी समय है… (File / ANI)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : August 10, 2025 at 8:12 PM IST

2 Min Read
नई दिल्ली: कर्नाटक के मुख्य निर्वाचन अधिकारी (CEO) ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी को नोटिस जारी किया और उनसे वे दस्तावेज साझा करने को कहा है जिनके आधार पर उन्होंने आरोप लगाया था कि एक महिला ने दो बार मतदान किया.

लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी को नोटिस जारी किए जाने के तुरंत बाद, चुनाव आयोग ने एक बार फिर उनसे कहा कि या तो वह कर्नाटक, हरियाणा और महाराष्ट्र में वोट चोरी के अपने आरोपों को साबित करने के लिए एक घोषणापत्र पर हस्ताक्षर करें या फिर “बेतुके” आरोप लगाने के लिए देश से माफी मांगें.

कर्नाटक के मुख्य चुनाव अधिकारी ने राहुल गांधी से कहा कि ये दस्तावेज उनके कार्यालय को विस्तृत जांच करने में मदद करेंगे.

राहुल गांधी ने 7 अगस्त को नई दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में ये दस्तावेज दिखाए थे.

नोटिस में कहा गया है, “आपने यह भी कहा है कि मतदान अधिकारी द्वारा दिए गए रिकॉर्ड के अनुसार, शकुन रानी ने दो बार मतदान किया था… पूछताछ करने पर शकुन रानी ने कहा है कि उन्होंने केवल एक बार मतदान किया है, दो बार नहीं, जैसा कि आपने आरोप लगाया है.”

पत्र में कहा गया है कि सीईओ कार्यालय की प्रारंभिक जांच में  पता चला है कि कांग्रेस नेता का पेश प्रपत्र मतदान अधिकारी ने जारी नहीं किया गया. नोटिस में कहा गया है, “इसलिए आपसे अनुरोध है कि वे प्रासंगिक दस्तावेज उपलब्ध कराएं जिनके आधार पर आपने यह निष्कर्ष निकाला है कि शकुन रानी या किसी अन्य ने दो बार मतदान किया है, ताकि इस कार्यालय द्वारा विस्तृत जांच की जा सके.”

कर्नाटक सीईओ द्वारा जारी नोटिस का जवाब देते हुए चुनाव आयोग ने कहा, “राहुल गांधी के पास अभी भी समय है कि वे सीईओ कर्नाटक के पहले पत्र पर घोषणा करें या देश से माफी मांगें.”

कर्नाटक के सीईओ ने राहुल गांधी को लिखे अपने पत्र में कहा है, ‘आपने 7 अगस्त की प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा था कि आपके  दिखाए  दस्तावेज भारत निर्वाचन आयोग के रिकॉर्ड से हैं. आपने कहा था कि यह निर्वाचन आयोग का डेटा है और यह भी कहा था कि मतदान अधिकारी के दिए गए रिकॉर्ड के अनुसार, शकुन रानी ने दो बार मतदान किया है. आपने एक वोटर आईडी कार्ड दिखाते हुए कहा था कि इस पर दो बार टिक मार्क लगे हैं, ये टिक मार्क पोलिंग बूथ अफसर के हैं.’

शकुन रानी से चुनाव आयोग ने की पूछताछ 

मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने आगे कहा, ‘जांच में शकुन रानी ने बयान दिया है कि उन्होंने केवल एक बार मतदान किया, न कि दो बार, जैसा कि आपने आरोप लगाया है. हमारे कार्यालय की प्रारंभिक जांच से यह भी पता चलता है कि आपकी प्रस्तुति में दिखाया गया टिक मार्क प्रपत्र मतदान अधिकारी का जारी प्रपत्र नहीं है. इसलिए, आपसे अनुरोध है कि कृपया वें प्रासंगिक प्रपत्र उपलब्ध कराएं, जिनके आधार पर आपने निष्कर्ष निकाला कि शकुन रानी या किसी अन्य व्यक्ति ने दो बार मतदान किया है, ताकि हमारा कार्यालय विस्तृत जांच कर सके.’

राहुल गांधी ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में चुनाव आयोग पर मतदाता सूची में अयोग्य मतदाताओं को शामिल करने और योग्य मतदाताओं को हटाने का आरोप लगाया था. इसके जवाब में, कर्नाटक के सीईओ ने बयान जारी कर कहा था, ‘चुनावों के संचालन के संबंध में, चुनाव परिणामों को केवल उच्च न्यायालय में चुनाव याचिका के माध्यम से चुनौती दी जा सकती है. आपसे अनुरोध है कि इलेक्टोरल रजिस्ट्रेशन रूल्स, 1960 के नियम 20 (3) (बी) में घोषणा/शपथ पत्र पर हस्ताक्षर करें और उन मतदाताओं के नामों के साथ इसे जमा करें, ताकि आवश्यक कार्यवाही शुरू की जा सके.’

राहुल गांधी का ECI पर वोट चोरी का आरोप

कर्नाटक राज्य चुनाव आयोग ने राहुल गांधी के आरोपों पर कहा था कि जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950, पंजीकरण नियम, 1960 और भारत निर्वाचन आयोग से समय-समय पर जारी निर्देशों के अनुसार मतदाता सूचियां पारदर्शिता से तैयार की जाती हैं. नवीनतम मतदाता सूचियां कांग्रेस के प्रतिनिधियों के साथ साझा की गई थीं, और कांग्रेस ने तब इसके खिलाफ कोई अपील या शिकायत दर्ज नहीं कराई थी. राहुल गांधी ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस में दावा किया था कि महादेवपुरा में 1,00,250 वोट चुराए गए, जिसमें 11,965 डुप्लिकेट मतदाता, 40,009 फर्जी और अवैध पते, 10,452 एक ही पते पर कई मतदाता, 4,132 अवैध फोटो और 33,692 फॉर्म 6 का दुरुपयोग शामिल था.
आयोग सूत्रों ने यह भी कहा कि भविष्य  में राहुल गांधी के कथित झूठ के खिलाफ एक्शन बढ़ता जाएगा।

आयोग उन सभी वोटरों तक भी पहुंचेगा जिनके बारे में राहुल गांधी ने जीरो एड्रेस होने और वोटर ना होने जैसे कई तरह के गंभीर आरोप लगाए हैं। आयोग अधिकारियों ने कहा कि राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में मतदाताओं की साइन जो मार्क वोटर लिस्ट दिखायी है, वह कोई भी पोलिंग ऑफिसर किसी को भी शेयर कर ही नहीं सकता। आयोग ने उस विधानसभा क्षेत्र के पोलिंग ऑफिसर से भी इस बारे में पूछताछ की जिसमें उस पोलिंग ऑफिसर ने ऐसी कोई भी लिस्ट राहुल गांधी या कांग्रेस पार्टी के किसी भी नेता से शेयर करने से साफ इंकार किया है। ऐसे में यह साफ है कि वह लिस्ट राहुल गांधी ने खुद से बनाई या बनवाई और जाली है। इसके अलावा उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में जो भी जानकारी दी, वह भ्रामक और लोगों को गुमराह करने वाली है।

झूठे दावे पेश करने पर क्या है सजा का प्रावधान?
आयोग सूत्रों का कहना है कि चुनाव आयोग के जाली प्रपत्र बनाने, जाली प्रपत्र रखने, लोगों को गलत जानकारी देने समेत अन्य तरह से झूठे दावे पेश करने में सात-सात साल तक की सजा का प्रावधान है। सीईओ कर्नाटक के साथ ही महाराष्ट्र और हरियाणा के सीईओ ऑफिस ने अपने-अपने स्तर पर जांच शुरू कर दी है। यह जांच उन वोटरों की जा रही है, जो उन्होंने स्पेसिफिक तौर पर प्रेस कॉन्फ्रेंस में दिखाए। लेकिन बड़ी संख्या में जिन वोटरों के घर नहीं होने, फेक वोटर होने और अन्य तरह से वोट चोरी के जो भी आरोप लगाए गए हैं,उनके लिए राहुल गांधी को प्रपत्र तो देने ही होंगे, वरना अपनी गलती माननी होगी।

बिहार की वोटर लिस्ट पर जानकारी
इसके अलावा चुनाव आयोग ने बिहार की वोटर लिस्ट के बारे में भी जानकारी दी है कि जिन 65 लाख वोटरों के नाम वोटर लिस्ट से काटे गए, उन सभी की लिस्ट राजनीतिक दलों को वोटर लिस्ट का ड्राफ्ट पब्लिकेशन करने से पहले और बाद में भी शेयर की गई। जो भी नेता इस बात का दावा कर रहे हैं कि आयोग ने उन्हें 65 लाख वोटरों की लिस्ट नहीं दी, झूठ बोल रहे हैं।

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