अफगानिस्तान तालिबान से नहीं, अपने भ्रष्टाचार से हारा

ANALYSIS: अफगानिस्तान को तालिबान ने नहीं, बल्कि अपने नेताओं के भ्रष्टाचार ने हराया!

अफगानिस्तान के राष्ट्रपति अशरफ गनी को Failed States का एक्सपर्ट माना जाता है. यानी वो दुनिया के उन गिने चुने लोगों में शामिल हैं जो ये पहले ही पता लगा सकते हैं कि किस देश की सरकार नाकाम होने वाली है, और इसके कारण क्या हो सकते हैं. लेकिन अफसोस अशरफ गनी अपने ही देश के फेल्ड स्टेट में बदल जाने का अनुमान नहीं लगा सके.

अफगान को तालिबान ने नहीं बल्कि भ्रष्ट नेताओं ने हराया
सबसे पहले देश छोड़कर भाग निकले राष्ट्रपति अशरफ गनी
जब ताजिकिस्तान ने खड़े किए हाथ तो ओमान जा पहुंचे गनी


नई दिल्ली17अगस्त्त : अफगानिस्तान, तालिबान से नहीं बल्कि अपने नेताओं के भ्रष्टाचार से हारा है. जब अफगानिस्तान के लोग अपनी जान बचाकर भाग रहे थे तब वहां के 72 साल के राष्ट्रपति अशरफ गनी (Ashraf Ghani) एक प्राइवेट विमान से देश छोड़कर निकल गए. रूस की मीडिया का दावा है कि अशरफ गनी राष्ट्रपति भवन से हेलिकॉप्टर से काबुल एयरपोर्ट पहुंचे. इस हेलिकॉप्टर में भारी मात्रा में कैश रखा हुआ था. इसके अलावा कैश से भरी 4 गाड़ियां भी अशरफ गनी के साथ एयरपोर्ट पहुंचीं. अशरफ गनी इतना पैसा अपने साथ लेकर निकले थे कि हेलिकॉप्टर और गाड़ियों में जगह ही नहीं बची और उन्हें पैसों से भरा एक बैग तो एयरपोर्ट पर छोड़ना पड़ा.

ओमान में हैं राष्ट्रपति अशरफ गनी!

अशरफ गनी ने काम एयर (Kam Air) के एक विमान से उड़ान भरी. ये अफगानिस्तान की सबसे बड़ी प्राइवेट एयरलाइन है. कहा जाता है कि इसका एक विमान हमेशा अशरफ गनी की सेवा में रहता था. यानी वो जब चाहें इसका इस्तेमाल कर सकते हैं, और इसी विमान से अशरफ गनी ने पहले ताजिकिस्तान के लिए उड़ान भरी. लेकिन रिपोर्ट्स का दावा है कि ताजिकिस्तान (Tajikistan) ने उनके विमान को लैंड करने की इजाजत नहीं दी, और फिर उनका विमान ओमान (Oman) के लिए मुड़ गया. अभी अशरफ गनी के ओमान में ही होने का दावा किया जा रहा है. कुछ लोग कह रहे हैं कि वो वहां से अमेरिका जाना चाहते हैं, लेकिन Zee News को जानकारी मिली है कि वो शायद ही ऐसा करेंगे. उनके पास इस समय अच्छा खासा पैसा है और हो सकता है वो इसी में से कुछ पैसा ओमान में निवेश कर दें, और आराम की जिंदगी बिताएं.


अशरफ गनी पर भ्रष्टाचार के आरोप

ये पहली बार नहीं है जब अशरफ गनी के लालच ने उनके देश को नुकसान पहुंचाया है. उन पर और उनके परिवार पर पहले भी भ्रष्टाचार के आरोप लगते रहे हैं. 2019 में उनकी सरकार ने एक ऐसी माइनिंग कंपनी को ठेका दिया था, जिसमें अशरफ गनी के भाई की हिस्सेदारी थी. इसके अलावा अमेरिका से मिलने वाली मदद का भी उनकी सरकार ने गलत इस्तेमाल किया, और जिस पैसे से सेना को अपग्रेड किया जाना था. उस पैसे से अशरफ गनी और उनके करीबी ऐश करते रहे. 2014 और 2019 में जब उन्होंने राष्ट्रपति का चुनाव लड़ा तो इस दौरान भी उन पर धांधली के आरोप लगे थे.

फेल्ड स्टेट के एक्सपर्ट हैं अशरफ गनी

अशरफ गनी ने कॉलेज की पढ़ाई अमेरिका की कोलम्बिया यूनिवर्सिटी (Columbia University) से की है और उन्होंने लंबे समय तक वर्ल्ड बैंक (World Bank) में भी काम किया. अशरफ गनी को Failed States का एक्सपर्ट माना जाता है. यानी दुनिया के उन गिने चुने लोगों में शामिल हैं जो ये पहले ही पता लगा सकते हैं कि किस देश की सरकार नाकाम होने वाली है और इसके कारण क्या हो सकते हैं. लेकिन अफसोस अशरफ गनी अपने ही देश के फेल्ड स्टेट में बदल जाने का अनुमान नहीं लगा सके.

भारत-अमेरिका ने की थी बड़ी गलती

अशरफ गनी के कार्यकाल के दौरान ही उनकी सरकार के एक बड़े मंत्री पर एक महिला का यौन शोषण करने के आरोप लगे थे. लेकिन कहा जाता है कि अशरफ गनी सरकार ने इस मामले को दबाया और आरोपित मंत्री के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की. लेकिन इन सबके बावजूद, अमेरिका और भारत ने अशरफ गनी का समर्थन किया था और ये शायद इन दोनों देशों की एक बड़ी गलती थी. 2014 और 2019 में अशरफ गनी पर चुनावों में धांधली के आरोप लगे थे और अशरफ गनी की कमजोरियां सामने आने लगी थी. लेकिन भारत और अमेरिका उन्हें जरूरत से ज्यादा समर्थन देते रहे और आज वही अशरफ गनी अपने देश के लोगों के साथ गद्दारी करके भाग गए।

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